नई दिल्ली, 9 जून || परिचालनरत राष्ट्रीय राजमार्ग परिसंपत्तियों के मूल्य को गति देने के लिए, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) ने सोमवार को अपनी पहली ‘सड़क क्षेत्र के लिए परिसंपत्ति मुद्रीकरण रणनीति’ जारी की।
इस कदम का उद्देश्य भारत के बुनियादी ढांचे के विकास में सार्वजनिक निजी भागीदारी (PPP) को बढ़ाना है।
यह रणनीति संपत्ति मुद्रीकरण योजना - 2025-30 के तहत सरकार के उद्देश्य के अनुरूप है और टिकाऊ, बाजार-संचालित बुनियादी ढांचे के वित्तपोषण की दिशा में एक महत्वपूर्ण बदलाव का प्रतिनिधित्व करती है।
सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के अनुसार, यह रणनीति एक संरचित ढांचा प्रस्तुत करती है जो टोल-ऑपरेट-ट्रांसफर (ToT), बुनियादी ढांचा निवेश ट्रस्ट (InvITs) और प्रतिभूतिकरण मॉडल के माध्यम से पूंजी जुटाने के लिए एक मजबूत खाका प्रदान करती है।
इन साधनों ने NHAI को राष्ट्रीय मुद्रीकरण पाइपलाइन के तहत 6,100 किलोमीटर से अधिक राष्ट्रीय राजमार्गों पर 1.4 लाख करोड़ रुपये से अधिक जुटाने में मदद की है।
यह रणनीति तीन प्रमुख स्तंभों पर आधारित है, जिनमें सरकारी सड़क परिसंपत्तियों का मूल्य निर्धारण, प्रक्रियाओं की पारदर्शिता और निवेशक-प्रासंगिक सूचना का प्रसार, तथा निवेशक आधार को गहन बनाने के साथ-साथ हितधारक सहभागिता को बढ़ावा देकर बाजार का विकास शामिल है।