नई दिल्ली, 13 मई || राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मंगलवार को ऑपरेशन सिंदूर के दौरान अचानक घोषित संघर्ष विराम पर सहमति पर कांग्रेस पार्टी की चिंता जताई और कश्मीर पर मदद के अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के सुझाव को 'खतरनाक' बताया।
कांग्रेस के दिग्गज नेता ने सरकार से सवाल किया कि वह डोनाल्ड ट्रंप को तस्वीर में क्यों आने दे रही है।
यहां मीडिया को संबोधित करते हुए गहलोत ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और विदेश मंत्रालय को इस बारे में विस्तार से बताना चाहिए कि ट्रंप ने भारत और पाकिस्तान के बीच संघर्ष विराम पर सहमति बनाने में क्या भूमिका निभाई।
कश्मीर पर मदद के अमेरिकी राष्ट्रपति के प्रस्ताव का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा, "मुझे पीएम मोदी से यह शिकायत है कि उन्होंने ट्रंप के ट्वीट के बारे में कुछ नहीं कहा।"
उन्होंने कहा, "शिमला समझौते में कहा गया था कि कोई तीसरा देश तस्वीर में नहीं आएगा, लेकिन ट्रंप ने परिदृश्य में प्रवेश कर लिया है। हमें नहीं पता कि ट्रंप भारत सरकार की सहमति से फ्रेम में हैं या नहीं।" कांग्रेस नेता ने ट्रंप को अचानक भूमिका निभाने की अनुमति देने और कश्मीर पर उनकी बात सुनने के पीछे की मजबूरी पर सरकार की चुप्पी पर निशाना साधा।
कश्मीर पर मदद के लिए ट्रंप की पेशकश को खतरनाक घटनाक्रम बताते हुए गहलोत ने कहा, "हम ट्रंप को भूमिका निभाने की अनुमति देने के पीछे के कारण और मजबूरी के बारे में विशिष्ट विवरण क्यों नहीं साझा कर रहे हैं?"